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पंजाबी और बिहारी सिख के बीच वर्चस्व की लड़ाई- कपूर

पंजाबी और बिहारी सिख के बीच वर्चस्व की लड़ाई- कपूर

पटना जिलासुधार समिति के महासचिव राकेश कपूर ने वयान जारी कर कहा कि इन दिनों सिखों के दूसरे सबसे बड़े धार्मिक तख्त श्री गुरूगोबिन्द सिंह जी महाराज की जन्म स्थली पटना साहिब गुरूद्वारा क्षुद्र राजनीति का रणक्षेत्र बन गया है।प्रबन्धक कमिटी के आपसी विवाद के कारण यहां कभी भी बड़ी वारदात हो सकती है । श्री कपूर ने कहा कि गुरुद्वारा परिसर में हत्यायें तक हो चुकी हैं,तलवारबाजी से लेकर पत्थरबाजी की घटना तो आम बात हो गई है। उन्होंने कहा कि पूर्व में जत्थेदार ज्ञानी इकबाल सिंह पर भी तलवार से ही हमला हुआ था और अब वही अकाली समर्थक पंजाब से फरमान जारी कर तनखैया घोषित कर उन्हें धर्म विरोधी ठहराया है। जब-जब पंजाब के अकाली दल के समर्थक गुरूद्वारा प्रबंधक कमिटी पर वर्चस्व बनाते हैं तो स्थानीय सिख जनप्रतिनिधियों से उनका टकराव होता है। अपने वर्चस्व के लिए ये धर्मकंटक हिंसा का सहारा लेने से भी नहीं चूकते।


श्री कपूर ने कहा कितख्त श्री हरमंदिर जी प्रबंधक कमिटी के संरक्षक पटना जिला सत्र न्यायाधीश भी मूकदर्शक बने हैँ सुधार समिति उन्हे पहले भी तख्त के घटना क्रम से अवगत करा चुकी है।


पंजाब से तख्त श्री हरिमंदिर जी गुरुद्वारा के प्रबंधन को संचालित कर यहां की पुरातन सनातनी पद्धति पूजा-पाठ को समाप्त करने का षडयंत्र पूर्ण कार्य किया जा रहा है पटना जिला सुधार समिति के महासचिव राकेश कपूर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मांग करते हुए कहा कि यही समय है जी एस कंग की अध्यक्षता में गठित आयोग द्वारा अनुशंसित बिहार गुरुद्वारा एक्ट को लागू कर इस राजनीतिक लड़ाई को सदा के लिये समाप्त करवायें।
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