सोलह श्रृंगार,नारी सौंदर्य के अलंकार
कुमार महेंद्रबिंदी शोभा आभा मंडल,
शीतलता अप्रतिम ज्योत ।
कुमकुम पावनता सागर,
वनिता शक्ति उत्तम श्रोत ।
मांग अंतर सिंदुर मनोरम,
प्रिय दीर्घ आयुष साकार ।
सोलह श्रृंगार,नारी सौंदर्य के अलंकार ।।
काजल संग नयनन निखार,
मंगल दोष तीव्र निवारण ।
मेहंदी कर कमल श्रृंगार,
नेह अभिव्यंजना उदाहरण ।
लाल हरी रंग बिरंगी चूड़ियां,
सदा अनंत खुशियां आधार।
सोलह श्रृंगार,नारी सौंदर्य के अलंकार ।।
मंगलसूत्र सुहाग अनुपमा ,
दाम्पत्य पर्याय परिभाषा ।
नथ उत्संग सौंदर्य वर्षा,
गजरा केश सुरभि अभिलाषा ।
सात्विक शालीन मांग टीका,
झुमके झुम आनंद धार ।
सोलह श्रृंगार,नारी सौंदर्य के अलंकार ।।
बाजूबंद उद्गम धन वैभव ,
स्वामित्य आहूत कमरबंद ।
बिछिया साहस शौर्य सेतु ,
पायल स्वर जीवन मकरंद ।
अंगूठी अंतर प्रणय अनुबंध ,
स्नान फल नव यौवन बहार ।
सोलह श्रृंगार,नारी सौंदर्य के अलंकार ।।
कुमार महेंद्र
(स्वरचित मौलिक रचना)
हमारे खबरों को शेयर करना न भूलें| हमारे यूटूब चैनल से अवश्य जुड़ें https://www.youtube.com/divyarashminews #Divya Rashmi News, #दिव्य रश्मि न्यूज़ https://www.facebook.com/divyarashmimag


0 टिप्पणियाँ
दिव्य रश्मि की खबरों को प्राप्त करने के लिए हमारे खबरों को लाइक ओर पोर्टल को सब्सक्राइब करना ना भूले| दिव्य रश्मि समाचार यूट्यूब पर हमारे चैनल Divya Rashmi News को लाईक करें |
खबरों के लिए एवं जुड़ने के लिए सम्पर्क करें contact@divyarashmi.com