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मगहिया देश

मगहिया देश

राजेंद्र पाठक

मीठ मगहिया देश हमर हे 
मीठे मीठे मीठ सफर हे।

लगल पलामू,झारखंड के, 
जमुई,मुंगेर,अंगिका अंग के,
सटल सिवाना शहाबाद के,
सबसे जुट्टल,हमर डगर हे। 
मीठे मीठे मीठ सफर हे।

आऊं संग करूं जलपानी
अपने के हे मधुरी बानी,
खूब सुनवली बात बतकही
फिन आएम,मन कहाँ भरल हे।
मीठे मीठे मीठ सफर हे।

खुभिया खाऊं,लेउँ अनरसा,
मगही पान भरल पनबट्टा,
तिलकुट आऊ,बिरंज बहुभोगी,
बूंदिया खूब मेहीन झरल हे।

मीठे मीठे मीठ सफर हे।

मगह मने कीकट-असथान,
पुनपुन,फल्गु के असनान,
बहे-बटाने,अदरी,मोरहर हे।

मीठे मीठे मीठ सफर हे।

किउल,कर्मनाशा के बीच
मगध के नक्सा धरके खींच
यहीं पुरनका गुजर बसर हे।

मीठे मीठे मीठ सफर हे।

अहरी,पईनी,तार,खजूर,
अरज हे बाबू, सुनूं हुजूर,
लूर सहूर के इ नइहर हे।

मीठे मीठे मीठ सफर हे।

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