देशभर के 8794 उद्यमियों को केवीआईसी ने वितरित की 300 करोड़ की सब्सिडी, आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक और बड़ा कदम

खादी और ग्रामोद्योग आयोग (KVIC) ने प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (PMEGP) के अंतर्गत एक और ऐतिहासिक उपलब्धि दर्ज की है। मंगलवार को मुंबई स्थित केवीआईसी के केंद्रीय कार्यालय से एक भव्य ऑनलाइन कार्यक्रम के माध्यम से देशभर के 8,794 लाभार्थियों को ₹300 करोड़ की मार्जिन मनी सब्सिडी वितरित की गई। यह सब्सिडी ₹884 करोड़ के स्वीकृत ऋण के अनुपात में जारी की गई है। कार्यक्रम की अध्यक्षता केवीआईसी के माननीय अध्यक्ष श्री मनोज कुमार ने की, जिन्होंने ऑनलाइन माध्यम से यह संवितरण किया।
इस अवसर पर सीईओ सुश्री रूप राशि समेत आयोग के अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित रहे। इस आयोजन में देश के सभी छह क्षेत्रीय जोनों की भागीदारी रही, जिसने इसे एक राष्ट्रव्यापी स्वरोजगार महाअभियान में बदल दिया।
🌐 आत्मनिर्भर भारत की दिशा में सशक्त पहल
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए केवीआईसी अध्यक्ष श्री मनोज कुमार ने कहा,
"प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व और दूरदर्शी सोच ने देश को आत्मनिर्भरता की राह पर अग्रसर किया है। पीएमईजीपी योजना आज सिर्फ रोजगार नहीं, बल्कि उद्यमशीलता और ग्रामीण आर्थिक विकास का आधार बन चुकी है। खादी और ग्रामोद्योग आत्मनिर्भर भारत का प्रतीक है।"
उन्होंने कहा कि यह कार्यक्रम देश के युवाओं को स्वरोजगार की शक्ति देकर उन्हें आत्मनिर्भर और सशक्त बना रहा है।
📍 संवितरित सब्सिडी – क्षेत्रवार विवरण:
1. दक्षिण क्षेत्र
राज्य: आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक, तमिलनाडु, केरल, पुडुचेरी
परियोजनाएं: 2445
सब्सिडी: ₹80.26 करोड़
2. मध्य क्षेत्र
राज्य: उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उत्तराखंड
परियोजनाएं: 2366
सब्सिडी: ₹91.13 करोड़
3. पूर्वी और पूर्वोत्तर भारत
राज्य: बिहार, झारखंड, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, अंडमान निकोबार, असम, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, त्रिपुरा
परियोजनाएं: 2167
सब्सिडी: ₹62.68 करोड़
4. उत्तर क्षेत्र
राज्य: हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, पंजाब, राजस्थान
परियोजनाएं: 1320
सब्सिडी: ₹41.80 करोड़
5. पश्चिम क्षेत्र
राज्य: गुजरात, महाराष्ट्र, गोवा
परियोजनाएं: 496
सब्सिडी: ₹24.12 करोड़
📊 योजना की अब तक की उपलब्धियाँ
प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (PMEGP), जो सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्रालय (MSME) के अंतर्गत केवीआईसी द्वारा संचालित है, 2008 से लागू है और तब से लेकर 2024-25 तक इस योजना ने देश के आर्थिक और सामाजिक ढांचे में महत्वपूर्ण बदलाव लाया है:
10,18,185 सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना
₹73,348.39 करोड़ का ऋण स्वीकृत
₹27,166.07 करोड़ की मार्जिन मनी सब्सिडी
90,04,541 से अधिक प्रत्यक्ष और परोक्ष रोजगार
🔍 पीएमईजीपी क्यों है खास?
ग्रामीण और शहरी युवाओं को ब्याज रहित सब्सिडी
बैंक लोन के साथ जोड़कर उद्यमिता को बढ़ावा
पारंपरिक उद्योगों को आधुनिक तकनीक से जोड़ना
महिला, अनुसूचित जाति/जनजाति व पिछड़े वर्गों को अग्राधिकार
‘वोकल फॉर लोकल’ और ‘मेक इन इंडिया’ को मिल रहा बल
🎯 भविष्य की योजना
केवीआईसी अध्यक्ष श्री मनोज कुमार ने कहा कि आने वाले वर्षों में पीएमईजीपी के जरिए हर जिले में कम से कम 100 उद्यम स्थापित करने का लक्ष्य है। इससे स्थानीय स्तर पर रोजगार, स्थानीय उत्पादन और स्थायी विकास सुनिश्चित किया जा सकेगा।
निष्कर्षतः, यह आयोजन सिर्फ सब्सिडी का संवितरण नहीं, बल्कि देश के लाखों युवाओं के सपनों को उड़ान देने वाला क्षण था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आत्मनिर्भर भारत की परिकल्पना को साकार करने की दिशा में यह एक सशक्त कदम सिद्ध हो रहा है।
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